सरकारी अध्यापक [Government Teacher] कैसे बनें |

Government Teacher हो या अन्य कोई सरकारी नौकरी लोग इन्हें पाने के लिए लालायित रहते हैं | वर्तमान में अपने देश भारत में युवा वर्ग अपनी नौकरी अर्थात कैरियर को लेकर काफी सजग एवं चिंतित नज़र आता है शायद जिसका मुख्य कारण देश में उपलब्ध भयंकर बेरोजगारी है | बात जब अध्यापन क्षेत्र में कैरियर बनाने की आती है तो लोगों के मन में यही सवाल आता है की वे Government Teacher बनकर कैसे अपनी कमाई कर पाने में समर्थ होंगे |

हालांकि टीचर या अध्यापक बनने के प्रति युवाओं में आकर्षण सिर्फ इसलिए नहीं है की उन्हें इस प्रकार का कार्य करके अच्छे खासे वेतन की प्राप्ति होगी बल्कि इसलिए भी है क्योंकि आज भी हमारे समाज में अध्यापन के कार्य में संलिप्त अध्यापकों को बड़ा सम्मान दिया जाता है हालांकि यहाँ पर यह बात स्पष्ट कर देना चाहेंगे की यह सम्मान पहले, आज से कहीं अधिक था |

लेकिन इसके बावजूद भी वर्तमान में युवाओं में इस क्षेत्र के प्रति अकूत आकर्षण देखने को मिलता है इसलिए आज हम हमारे इस लेख Government Teacher कैसे बनें (How to become school teacher in Hindi) में उन सभी बिन्दुओं पर सिलसिलेवार तरीके से वार्तालाप करेंगे जो Government Teacher बनने के लिए जरुरी होती हैं या मददगार साबित होती हैं |

A Government Teacher Teaching to her Students
A Government Teacher Teaching to her Students

[Government Teacher] बनने के लिए शैक्षणिक योग्यता:

यहाँ पर हमें यह जान लेना जरुरी है की जब भी टीचर बनने की बात आती है तो आखों के सामने उन सभी टीचर की तस्वीर उभरकर सामने आती आती है जिन्होंने हमें प्राइमरी स्कूल में पढ़ाया, जूनियर हाई स्कूल में पढाया, माध्यमिक या उच्च माध्यमिक स्कूल में पढ़ाया, कॉलेज में पढ़ाया इत्यादि |

अब सवाल यह उठता है क्या सभी प्रकार के शिक्षण संस्थानों में Government Teacher बनने के लिए एक जैसी शैक्षणिक योग्यता की आवश्यकता होती है? इसका जवाब ना है अलग अलग शिक्षण संस्थानों में टीचर बनने के लिए अलग अलग शैक्षणिक योग्यता की आवश्यकता हो सकती है | लेकिन Government Teacher बनने के लिए कम से कम शैक्षणिक योग्यता की बात करें, तो इंटरमीडिएट पास करने के बाद व्यक्ति टीचर बनने से सम्बंधित कोर्स कर सकता है |

भारत में सरकारी अध्यापक [ Government Teacher ] कैसे बनें :

जहाँ तक अपने देश भारत में Government Teacher बनने का सवाल है इसके लिए इच्छुक अभ्यर्थी को पहले से सजग रहना अत्यंत जरुरी है | सजगता इस बारे में होनी चाहिए की आखिर अभ्यर्थी किस प्रकार के शिक्षण संस्थान जैसे नर्सरी स्कूल, प्राइमरी स्कूल, जूनियर हाई स्कूल या उच्च माध्यमिक या माध्यमिक स्कूल में से किसमें टीचर बनने की सोच रहा है, क्योंकि अलग अलग स्कूल के आधार पर कोर्स एवं शैक्षणिक योग्यता अलग अलग हो सकती है |

इससे पहले की हम इन मुख्य कोर्स के बारे में जानें आइये हम Government Teacher बनने की ओर अभ्यर्थी द्वारा उठाये जाने वाले कुछ मुख्य क़दमों के बारे में वार्तालाप कर लेते हैं |

1. दसवीं से ही तैयारी करें :

Government Teacher बनने के आकांक्षी विद्यार्थी को कक्षा 10 से ही तैयारी कर लेनी चाहिए ताकि टीचर बनने की ओर उसका मार्ग सुगमतापूर्वक मंजिल तक पहुँच सके | दसवीं से ही अभ्यर्थी को अपनी रूचि का आकलन करना होगा की ऐसा कौन सा विषय है जो उसे अच्छा लगता है और जिसमे वह बेहतर कर सकता है | जब अभ्यर्थी को उस विषय का पता लग जाता है जिसमे वह बेहतर कर सकता है तो अभ्यर्थी उसी विषय का टीचर बनने की सोच सकता है |

2. ग्यारहवीं में विषय का चयन करें :

चूँकि दसवीं में अभ्यर्थी ऐसे विषय के बारे में पता लगा चूका है जिसमे उसे रूचि है और जिसमे वह बेहतर प्रदर्शन कर सकता है | लेकिन ग्यारहवीं में ऐसा बिलकुल नहीं होना चाहिए की अभ्यर्थी उस पसंदीदा विषय को छोड़ दे बल्कि ग्यारहवीं, बारहवीं यानिकी इंटरमीडिएट में और विषय रहे न रहे वह विषय अवश्य होना चाहिए जो अभ्यर्थी ने Government Teacher बनने के लिए पसंद किया हो |

3. पसंदीदा विषय पर विशेष ध्यान दें :

अक्सर आपने देखा होगा अलग अलग अध्यापकों की अलग अलग विषय को पढ़ाने की विशेषता होती है | कहने का आशय यह है की स्कूलों में अलग अलग अध्यापक अलग अलग विषयों में दक्षता हासिल किये हुए होते हैं, और सरल शब्दों में कहें तो यह कह सकते हैं की एक अध्यापक केवल एक ही विषय में दक्ष होता है |

इसलिए Government Teacher बनने के इच्छुक अभ्यर्थी को अन्य विषयों की तुलना में उस विषय पर अधिक ध्यान देने की आवश्यकता होती है जिस विषय को वह अन्य विद्यार्थियों को पढ़ाना चाहता हो | एक अच्छे अध्यापक के लिए जरुरी होता है की उसे उस विषय की पूर्ण जानकरी हो जिस विषय को वह अपने विद्यार्थीयों को पढ़ाना चाहता हों |

4. पसंदीदा विषय के साथ ग्रेजुएशन करें :

हालांकि शिक्षण व्यवसाय से समबन्धित कुछ कोर्स जैसे NTT में डिप्लोमा, जेबीटी इत्यादि के लिए केवल इंटरमीडिएट होना भी पर्याप्त है, लेकिन अधिकतर कोर्सों में प्रवेश पाने के लिए न्यूनतम योग्यता स्नातक यानिकी ग्रेजुएशन निर्धारित की गई है | इसलिए Government Teacher बनने की आंकंक्षा रखने वाले अभ्यर्थी का ग्रेजुएशन करना भी जरुरी हो जाता है |

ग्रेजुएशन में भी उसी विषय का चयन करना चाहिए जो व्यक्ति का पसंदीदा विषय हो और जिसे वह औरों को पढ़ाकर वह अपनी कमाई करना चाहता हो | इस तरह से अभ्यर्थी की टीचर बनने की ओर उठाया कदम सुगमता से उसकी मंजिल तक पहुँच सकता है | लेकिन ध्यान रहे कुछ कोर्स ऐसे हैं जो एक निश्चित अंकों में पास होने के बाद ही किये जा सकते हैं इसलिए अभ्यर्थी की कोशिश ग्रेजुएशन में अधिक से अधिक अंक लाने की होनी चाहिए |

5. Government Teacher बनने के लिए B.ED के लिए अप्लाई करें:

ग्रेजुएशन करने के बाद केवल वही अभ्यर्थी B.Ed(Bachelor of Education) के लिए आवेदन कर सकते हैं जिनके ग्रेजुएशन में कम से कम 50% मार्क्स आये हों | अध्यापन क्षेत्र में यह कोर्स सबसे लोकप्रिय कोर्सों में से एक है 2015 से पहले जहाँ यह केवल एक साल का होता था वर्तमान में इस कोर्स की अवधि को बढाकर दो साल का कर दिया गया है |

बीएड कोर्स करने के बाद व्यक्ति हाई स्कूल तक के बच्चों को पढ़ाने के लिए योग्य माना जाता है | वर्तमान में प्राइवेट स्कूलों में भी कम से कम B.Ed(Bachelor of Education) किये हुए अध्यापकों की मांग होने लगी है | लेकिन सरकारी स्कूल में टीचर बनने के लिए सफ़र यही पर ख़त्म नहीं हो जाता बल्कि अभ्यर्थी को कुछ और परीक्षाओं से होकर गुजरना पड़ता है जिनका विवरण निम्न है |

3. एंट्रेंस एग्जाम पास करें :

Government Teacher बनने के लिए B.Ed(Bachelor of Education) करने के बाद इच्छुक अभ्यर्थी को TET(Teacher Eligibility test) या CTET (Central Teacher Eligibility Test) पास करना होता है | अधिकतर राज्यों में इन परीक्षाओं का आयोजन B.Ed(Bachelor of Education) और D. ED परीक्षा से पास छात्रों के लिए ही किया जाता है इस परीक्षा में वे छात्र भी भाग ले सकते हैं जिनका रिजल्ट Awaited हो |

इस प्रकार की परीक्षा को पास करने के बाद ही अभ्यर्थी Government Teacher बनने के लिए आवेदन कर सकते हैं | केंद्र सरकार के अधीन शिक्षण संस्थानों में अध्यापन का कार्य करने के लिए CTET (Central Teacher Eligibility Test) पास करना जरुरी होता है |

शिक्षण क्षेत्र से जुड़े कुछ जरुरी कोर्स:

हालांकि Government Teacher बनने की स्टेप बाई स्टेप प्रक्रिया हम उपर्युक्त वाक्यों में समझा चुके हैं, लेकिन अब सवाल यह है की टीचर बनने की चाह रखने वाले विद्यार्थियों या व्यक्तियों द्वारा विशेष प्रश्न जैसे नर्सरी स्कूल के टीचर कैसे बनें? प्राइमरी स्कूल के टीचर कैसे बनें?

जूनियर हाईस्कूल के टीचर कैसे बनें? और केन्द्रीय माध्यमिक विद्यालयों के टीचर कैसे बनें इत्यादि प्रश्न पूछे जा सकते हैं | इन्हीं प्रश्नों को ध्यान में रखते हुए आगे हम इसी लेख में शिक्षण क्षेत्र से जुड़े कुछ जरुरी कोर्सो के बारे में संक्षेप में वार्तालाप करेंगे ताकि Government Teacher बनने की चाहत रखने वाले लोगों को पूरी जानकारी मिल सके |

1. B.El. ED.( Bachelor of Elementary Education)

बी. इएल. इडी नामक इस कोर्स की बात करें तो इसका फुल फॉर्म Bachelor of Elementary Education होता है | इस कोर्स को प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षण कार्यक्रम भी कहा जा सकता है | इस कोर्स को विद्यार्थीयों को इतना क्षमतावान बनाने के लिए डिजाईन किया गया है ताकि वे प्राथमिक विद्यालयों में अध्यापक की भूमिका बखूबी निभा सकें |

इसलिए इस कार्यक्रम में थ्योरी एवं प्रैक्टिकल दोनों को सम्मिलित किया गया है | इस कोर्स को 10+2 के बाद किया जा सकता है लेकिन किसी विषय विशेष में 50% अंक होना जरुरी होता है | हालांकि न्यूनतम अंक वाला यह नियम अलग अलग संस्थान में अलग अलग हो सकता है | यह कोर्स चार सालों का होता है इसमें तीन साल थ्योरी पढाई जाती है और एक साल प्रैक्टिकल | यह कोर्स पूरा कर लेने के बाद छात्र चाहे तो आगे अध्यन कर सकता है या फिर TET या CTET एंट्रेंस एग्जाम दे सकता है |

यदि Government Teacher बनने का इच्छुक अभ्यर्थी TET पास करता है तो वह राज्य सरकार के प्राथमिक स्कूलों में टीचर बनने के लिए आवेदन कर सकता है और CTET पास केन्द्रीय विद्यालयों में अध्यापक बनने के लिए आवेदन कर सकता है |

2. D.EL. ED. (Diploma in Elementary Education)

डी. इएल. इडी. का फुल फॉर्म डिप्लोमा इन एलेमेंट्री एजुकेशन होता है यह एक प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षण डिप्लोमा प्रमाणपत्र कार्यक्रम है | यह उपर्युक्त दिए गए कोर्स  Bachelor of Elementary Education का अच्छा विकल्प है | यह कोर्स भी छात्रों को इतना क्षमतावान बनाने में मदद करता है ताकि वे प्राथमिक स्कूल में अध्यापन का कार्य कर सकें |

इस कोर्स को भी बारहवीं को कम से कम 50% अंकों के साथ पास करने के बाद किया जा सकता है | इस कोर्स को करने में दो वर्ष का समय लगता है इस कोर्स को करने के बाद Government Teacher बनने के लिए छात्र को TET या CTET परीक्षा पास करनी होती है | शिक्षण क्षेत्र से सम्बंधित कुछ और डिप्लोमा प्रमाण पत्र कार्यक्रम निम्नवत हैं |

  • बेसिक ट्रेनिंग सर्टिफिकेट (BTC)
  • प्राइमरी टीचर सर्टिफिकेट (PTC)
  • एलीमेंट्री टीचर एजुकेशन (ETE)
  • नर्सरी टीचर ट्रेनिंग (NTT)
  • डिप्लोमा इन एजुकेशन (DED)
  • टीचर ट्रेनिंग सर्टिफिकेट (TTC)
  • जूनियर बेसिक ट्रेनिंग (JBT)

उपर्युक्त दिए गए कोर्स या तो प्रमाण पत्र कार्यक्रम है या फिर डिप्लोमा कार्यक्रम इन सब कोर्स की अवधि भी दो वर्षो की है और पात्रता वही है जो D.EL. ED के लिए है | इन कोर्स में से किसी भी कोर्स को पूरा करके कोई भी व्यक्ति प्राथमिक स्कूल में, नर्सरी स्कूल इत्यादि में नौकरी पा सकता है |

3. Bachelor of Physical Education (B.P.ED.):

इस कोर्स के अंतर्गत फिजिकल एजुकेशन पर ध्यान दिया जाता है | इस कोर्स की अवधि तीन सालों की होती है | और जहाँ तक इसकी पात्रता का सवाल है कोई भी छात्र जिसने बारहवीं की कक्षा कम से कम 50% अंकों के साथ पास की हो वह यह कोर्स कर सकता है लेकिन कुछ संस्थानों में यह कोर्स करने के लिए कम से कम आवश्यक अंक कम या अधिक हो सकते हैं |

यह कोर्स पूरा होने के बाद व्यक्ति फिजिकल एजुकेशन टीचर या इंस्ट्रक्टर बन सकता है | Government Teacher बनने के लिए एक ऐसा ही कोर्स डिप्लोमा इन फिजिकल एजुकेशन (DPE) भी है | Government Teacher बनने के इच्छुक लोगों को अब यह जानकारी ज्ञात हो गई होगी की उन्हें अलग अलग स्कूल में टीचर बनने के लिए अलग अलग कोर्स करने पड़ सकते हैं |

उदाहरणार्थ: नर्सरी स्कूल का अध्यापक बनने की चाहत रखने वाले व्यक्ति को माध्यमिक स्कूल में अध्यापक बनने की चाहत रखने वाले व्यक्ति से अलग कोर्स करना पड़ेगा |

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